Bokaro News: बोकारो के चास में जैन धर्मावलंबियों का आठ-दिवसीय अनुष्ठान हुआ संपन्न
Bokaro: चास में जैन धर्मावलंबियों का आठ-दिवसीय अनुष्ठान संपन्न चास के माणकचंद जी छल्लानी निवास में अपने आध्यात्मिक प्रवास के दौरान समणी मधुर प्रज्ञा ने नवरात्रि पर आठ दिन तक विशेष अनुष्ठान संपन्न कराया।
समणी ने बुधवार को आयोजित सत्र में कहा कि नवरात्रि का महत्व सभी धर्मों में माना गया है। उन दिनों में तांत्रिक तंत्र विद्या की साधना करते हैं, तो बहुत से लोग मंत्र विद्या की भी आराधना करते हैं। वे मंत्र सिद्ध करते हैं, जो बहुत सी विघ्न बाधाओं को दूर करते हैं।
इस क्रम में समणी जी ने विविध मंत्रों के माध्यम से लगभग एक घंटे का अनुष्ठान करखाया। रामनवमी के दिन समनी मधुर प्रज्ञा ने अपने उद्बोधन में कहा- आज रामनवमी है। भारतीय परम्परा में यह दिन मर्यादा पुरुषोत्तम रामचन्द्र से जुड़ा हुआ है। तेरापंथ के इतिहास में भी आज का दिन बड़ा महत्त्वपूर्ण है। आज के दिन तेरापंथ के आचार्य भिक्षु ने सत्य के मार्ग पर अपने कदम बढ़ाए थे। वे सत्य के प्रति पूर्ण समर्पित थे।
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उन्होंने भगवान महावीर आगमों का न केवल का गहन अध्ययन किया, बल्कि उनकी वाणी को अपने जीवन में साक्षात रूप दिया। वे एक चिन्तनशील आचार्य थे। किसी भी कार्य की थे मूर्त रूप देने से पहले उस पर चिन्तन-मंथन करते। उसके बाद जो नवनीत निकलता, उसे जनमानस तक पहुंचाते।
आचार्य भिक्षु दूरदर्शी थे। उन्होनें भविष्य की नब्ज को पकड़ा और शिष्यों के लिए एक संविधान बनाया कि सभी शिष्य एक आज्ञा, मर्यादा और अनुशासन का पालन करेंगे। 250 वर्षों के बाद भी आचार्य की परम्परा अक्षुण्ण बनी हुई है। समणी ने भिक्षु स्वामी से संबंधित अनेक प्रसंग सुनाए, जिससे उपस्थित श्रावक मन्त्रमुग्ध हो उठे।
इस अवसर पर जयचन्द, सुशील, मानकजी, मदन चौरड़िया, रेणु चौरड़िया, प्रमोद चौरड़िया सहित जैन श्वेतांबर तेरापंथ समाज के कई लोग मौजूद रहे। मीडिया प्रभारी सुरेश बोथरा ने इस आशय की जानकारी दी।
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