Hazaribagh News: होली को लेकर लोगो के आंख में धूल झोका जा रहा है, तेलों में हो रही है मिलावट
Hazaribagh:- खाद्य तेल होली को चटपटा बनाने में सबसे महत्वपूर्ण है। घरों में पकवान तलना हो या चिप्स बनाना हो, सरसों तेल आवश्यक है।
खाद्य तेल होली को चटपटा बनाने में सबसे महत्वपूर्ण है। घरों में पकवान तलना हो या चिप्स बनाना हो, सरसों तेल आवश्यक है। लेकिन होली पर सरसों तेल खरीदते समय सावधान रहें। नहीं तो होली पर चटपटा खाना खाने से बीमार हो सकते हैं। अस्पताल जाना संभव है।
क्योंकि आजकल हजारीबाग के अधिकांश ग्रामीण इलाकों में नकली और मिलावटी सरसों तेल बनाकर बेचा जा रहा है शहरों में कई थोक विक्रेता इस अवैध व्यापार को प्रोत्साहित कर रहे हैं। मुनाफाखोरों ने राइस ब्रान, डीओ डिमोनाइज्ज आयल (कच्चा तेल) को मिलाकर होली पर नकली तेल बेच दिया है। जो मिलावट की आशंका व्यक्त करता है। शहर के ग्राहक पढ़े लिखे और जागरूक हैं, सूत्र बताते हैं।
उन्होंने ब्रांडेड कंपनियों से पैकेट बंद सरसों तेल खरीदा। वहीं ग्रामीण उपभोक्ताओं को पैसे की कमी होती है और वे जागरूक नहीं होते। इसलिए जिले में होली के अवसर का लाभ उठाने के लिए बड़ी मात्रा में नकली और मिलावटी सरसों तेल बनाया जा रहा है। मुनाफाखोरों ने भी मौके का फायदा उठाया है।
बड़कागांव, बरही, इचाक, विष्णुगढ़, पदमा, केरेडारी कटकमसांडी, चरही और टीना के छोटे-छोटे हाट बाजार में नकली सील मुहर लगाकर तेल भेजा जा रहा है। कार्टून भी एक लीटर और आधा लीटर के अलग-अलग ब्रांडेड कंपनियों का सरसों तेल भरकर भेज रहे हैं। कारोबारियों का कहना है कि लोगों ने राइस ब्रान डेमोनाइट तेल (कच्चा तेल) को बेच दिया है। इससे ब्रांडेड तेल की बिक्री में कमी आई है। तेल कारोबारियों ने बताया कि नकली सरसों तेल की दैनिक बिक्री चार से पांच टन होती है।
जिले में लगभग १५०० हेक्टेयर जमीन पर सरसों की खेती की जाती है। कृषि विभाग का कहना है कि एक हेक्टेयर में 20 किवंटल तक सरसों का उत्पादन होता है। औसतन, तीन सौ टन सरसों इस तरह बनाए जाते हैं। तेल मिल संचालकों का कहना है कि एक किलो सरसों से तीन किलो सरसों का तेल निकलता है। इस तरह देखा जाए तो 100 टन सरसों तेल बनाया जाता है।
ऐसे में प्रश्न उठता है कि जब जिले में इतना सरसों नहीं उत्पादित होता है और रोजाना 10 टन से अधिक गोला बाजार में बेचा जाता है? यही कारण है कि इतने बड़े पैमाने पर सरसों तेल का उत्पादन कहां से होता है? व्यापारियों का दावा है कि उत्तर प्रदेश, राजस्थान, बिहार और बंगाल से अधिकांश सरसों का तेल आता है।
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